Saturday, September 20, 2008

बहीखातों का अंबार यानी दफ्तर

ED001528 आज के वातानुकूलित और कम्प्यूटरों वाले आफिस भी दफ्तर ही कहलाते हैं जहां किसी खाते , रजिस्टर या बही का नामोनिशां नहीं है।
जीवन-यापन के लिए इस दुनिया में सभी को कुछ न कुछ काम करना पड़ता । अब कमाई करने के भी अलग अलग अंदाज़ हैं। ज्यादातर पढ़े-लिखे लोग आराम से बैठकर काम करते हैं क्योंकि वे दिमागी मेहनत ज्यादा करते हैं। अनपढ़ या कम शिक्षित लोगों को आराम का काम नसीब नहीं क्योंकि उन्हें शारीरिक मेहनत करनी होती है। बहरहाल बैठकर काम करने की जगह को हिन्दी में कार्यालय , उर्दू में दफ्तर और अंग्रेजी में ऑफिस कहते हैं। दफ्तर का मूल अरबी में अर्थ है बही खाता, मोटी किताब, उधार खाता या जिल्द आदि। काग़ज़ों का पुलिंदा और फाइलों का ढेर भी इसके अंतर्गत आता है। दफ्तर शब्द की हिन्दी में आमद बरास्ता फारसी-उर्दू हुई है। मुस्लिम शासन के शुरूआती दौर में ही यह शब्द भारत आ गया था।
यूं दफ्तर सेमेटिक मूल का शब्द है और अरबी भाषा का माना जाता है। हिब्रू में दफ्तर को दिफ्तर कहा जाता है जिसका अर्थ भी नोटबुक या खाताबही से ही है। हिब्रू में एक शब्द है दफ़ जिसका मतलब होता है पृष्ठ । संभव है इसका रिश्ता दिफ्तर या दफ्तर से हो मगर भाषाशास्त्री इसे दफ्तर शब्द को ग्रीक से अरबी में आया मानते हैं। ग्रीक भाषा का एक शब्द है डिप्थेरा [diphthera] जिसका मतलब है पतली महीन झिल्ली, चमड़ा। इसका अरबी रूपांतरण दफ्तर और हिब्रू रूप दिफ्तर हुआ। गले के रोग डिप्थीरिया का नामकरण भी इससे ही हुआ है । इस रोग से कंठ में एक अदृश्य झिल्ली उत्पन्न हो जाती है। पुराने ज़माने में अरब में चमड़े की महीन परतों पर लिखा जाता था और उन्हें मोटे तार में पिरोकर एक साथ रखा देते थे । इन्हें ही दफ्तर कहते थे। अंग्रेजी के लैटर [letter] यानी पत्र उद्गम भी इसी diphtheria से माना जाता है जो लैटिन के littera का बदला हुआ रूप है। यहां इसका मतलब है चिह्न, अंकित, या अक्षर। लैटर का मतलब पत्र-चिट्ठी होता है और हिन्दी मे भी इस्तेमाल किया जाता है मगर लैटर अक्षर को भी कहते हैं।
फ्तर के कई रूप अन्य भाषाओं में भी नज़र आते हैं मसलन बल्गारी में दफ्तर को तेफ्तेर, किरग़ीज़ी में देप्तेर, पर्शियन में दफ्तर, स्वाहिली में दफ्त्तारी, ताजिक और उज्बेकी में दफ्तार तथा तुर्की में देफ्तेर कहते हैं। तो स्पष्ट है कि बहीखाते या लिखने की बही , दस्तावेज या ग्रंथालय के अर्थ में दफ्तर शब्द प्रचलित हुआ। बाद में उस स्थान को ही दफ्तर कहा जाने लगा जहां सरकारी दस्तावेजों में लिखत-पढ़त का काम किया जाता था और फिर सरकारी कार्यालय दफ्तर कहलाने लगे । आज के वातानुकूलित और कम्प्यूटरों वाले आफिस भी दफ्तर ही कहलाते हैं जहां किसी खाते , रजिस्टर या बही का नामोनिशां नहीं है। दफ्तर से हिन्दी-उर्दू में दफ्तरी जैसा शब्द भी बना जिसका मतलब था दफ्तर के रजिस्टर , खाता बही आदि में खाने और लकीरें बनानेवाला, एंट्री करने वाला।
आपकी चिट्ठियां
सफर के पिछले पड़ावों- समूह से समझदारी की उम्मीदें...,आबादी को अब्रे-मेहरबां की तलाश...[चमक-ऊष्मा-प्रकाश... ,एक मातृभाषा की मौत और विधवा-बेवा-विडो पर कई साथियों की चिट्ठियां मिलीं । आप सबका आभार...सर्वश्री Anil Pusadkar Shastri ई-गुरु राजीव chandrashekhar hada डॉ .अनुरग सचिन मिश्रा manisha bhalla अनामदास Gyandutt Pandey सिद्धार्थ शंकर त्रिपाठी Mrs. Asha Joglekar सोनू डॉ .अनुराग रंजना [रंजू भाटिया] Udan Tashtari डा. अमर कुमार sidheshwer Sanjay अनूप शुक्ल प्रेमचंद गांधी Prem Chand Gandhi pallavi trivedi Arvind Mishra Swati डा. अमर कुमार अनूप शुक्ल प्रेमचंद गांधी Prem Chand GandhiDr. Chandra Kumar Jain दिनेशराय द्विवेदी pallavi trivedi Arvind Mishra अभिषेक ओझा Swati लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्`बने रहें सफर में ।

11 कमेंट्स:

Udan Tashtari said...

सही कह रहे हैं कि अब के दफ्तर तो पेपरलैस हो गये हैं..मगर फिर भी हैं दफ्तर ही. दफ्तरी भी गुम गये और चपरासी भी. सब कुछ खुद ही हैं. अच्छी जानकारी. इसी लिए शायद दफ्तर या ऑफिस की जगह वर्क पर जा रहे हैं, वर्क का फोन नम्बर आदि चलने लगा क्या?

Sanjay Karere said...

डिप्थीरिया और दफ्तर... ठीक है. लेकिन अब दफ्तर यानि दिमाग का रोग ज्‍यादा हो गया है... नहीं क्‍या? एक बात और जितना समय अब दफ्तर में बिताना पड़ता है उसे देखते हुए तो दफ्तर यानि दूसरा घर कहना भी ठीक ही होगा :)

लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्` said...

" दफ्तरी " मेरी एक सहेली की सरनेम हुआ करती थी !
आज ये आलेख पढ सहसा उसकी याद आ गई !
शब्दोँ का जादू यूँ ही बनाये रखिये !:)
- लावण्या

अनूप शुक्ल said...

सुन्दर दफ़्तर-कथा!

Gyan Dutt Pandey said...

दफ्तर का मूल अरबी में अर्थ है बही खाता, मोटी किताब, उधार खाता या जिल्द आदि।
-----

दफ्तर में मरियल सी लड़की थी। मैने उसे रजिस्टर लाने को कहा। बोली मैँ ला नहीं सकती। मुझे इनसबॉर्डिनेशन लगा। पर बाद मेँ रजिस्टर देखा तो इतना भारी था कि मैं दोनो हाथों से बड़ी मुश्किल से उठा पा रहा था!
अब ऐसे दफ्तर अतीत होते जा रहे हैं।

Dr. Chandra Kumar Jain said...

बैठकर काम करने की ज़गह
दफ्तर कही जाती है
लेकिन हमारे कई दफ़्तरी तो
काम को ही बिठा देते हैं !
भगवान् काम को उठाए
काम करने वालों को काम के
ठौर-ठिकानों में बिठाए
तो कोई बात बने !....तो
लीजिये हमने भी बैठे-बिठाए
दफ्तर की बात पढ़कर डटकर
कह दी दिल की बात !
=====================
आभार अजित जी.
चित्र भी गज़ब ढा रहा है.
डॉ.चन्द्रकुमार जैन

Asha Joglekar said...

Diptheria और दफ्तर कभी सोच भी नही सकते थे । एक मराठी का शब्द है दप्तर यानि स्कूल बैग वह भी ऐसा ही होगा ।

रंजू भाटिया said...

डिप्थीरिया और दफ्तर ..रोचक लगा इस को पढ़ना :)

Abhishek Ojha said...

डिप्थीरिया? कहाँ से कहाँ तक !

naresh agarwal said...

Sub hindi website for poems/other articles


Please visit www.nareshagarwala.com, by Naresh Agarwal(click here to
know more), a unique website to download 8 exclusive books absolutely
free.

The website has
2 inspirational books on education -a must for all
5 books on modern hindi poetry with extraordinary expressions
1 book on Indian Bonsai

Plus get to see photo gallery of Bonsai, Kashmir,Ladakh,Kerala,Andaman
and Nicobar etc.

All by Naresh Agarwal
from Jamshedpur,

Anonymous said...

दफ्तर से डिप्थीरिया का रिश्ता भी हो सकता है ये आज ही जाना ... रोचक जानकारी है।

नीचे दिया गया बक्सा प्रयोग करें हिन्दी में टाइप करने के लिए

Post a Comment


Blog Widget by LinkWithin