डंडे की महिमा सब जानते हैं। इससे बने मुहावरे डंडा परेड से सभी परिचित हैं।
डंडा यानी बांस या लकड़ी का लंबा टुकड़ा , छड़ी या सोंटा । यह लफ्ज बना है संस्कृत के दण्ड: से जिसकी उत्पत्ति दण्ड् धातु से हुई है। दण्ड् का मतलब है सज़ा देना । बाद में सजा देने वाले उपकरण यानी छड़ी के लिए ही दण्ड शब्द प्रचलित हो गया जिसने डंडे का रूप ले लिया। यह डंड या दंड शब्द सजा और जुर्माने के लिए भी प्रयुक्त होता है तथा भुजदंड भी एक प्रयोग है। प्रणाम के अर्थ में भी 'दंडवत' शब्द का प्रयोग होता है। गौरतलब है कि प्राचीनकाल से ही तिलक साफा-पगड़ी और दण्ड यानी छड़ी वगैरह समाज के प्रभावशाली लोगों का पसंदीदा प्रतीक चिह्न थे। राजा के हाथ में हमेशा दण्ड रहता था जो उसके न्याय करने और सजा देने के अधिकारी होने का प्रतीक था। आज भी जिलों व तहसीलों के प्रशासकों के लिए दंड़ाधिकारी शब्द चलता है। पौराणिक ग्रंथों में यम, शिव और विष्णु का यह भी एक नाम है।
प्रणाम अथवा अभिवादन करने का एक तरीका है दण्डवत नमस्कार। यह भूमि के समानान्तर सरल रेखा में लेट कर किया जाता है। दण्डवत अथात डंडे के समान। जिस तरह डंडा भूमि पर पड़ा रहता है , आराध्य के सामने अपने शरीर की वैसी ही मुद्रा बनाकर नमन करने को ही दण्डवत कहा जाता है। इस मुद्रा का एक अन्य नाम साष्टांग नमस्कार भी है। गौरतलब है कि दण्डवत मुद्रा में शरीर के आठों अंग आराध्य अथवा गुरू के सम्मान में भूमि को स्पर्श करते हैं ये हैं-छाती, मस्तक, नेत्र,मन , वचन,पैर, जंघा और हाथ। इसी मुद्रा को साष्टांग प्रणिपात कहा जाता है जिसके तहत मन और वचन के अलावा सभी अंगों का स्पर्श भूमि से होता है। मन से आराध्य का स्मरण किया जाता है और मुंह नमस्कार या प्रणाम शब्द का उच्चार किया जाता है। डंडापरेड अगली कड़ी में भी जारी रहेगी।
आपकी चिट्ठी
सफर की पिछली कड़ी - बक-बक वकील की , अधिवक्ता के वचन पर सर्वश्री दिनेशराय द्विवेदी, ज्ञानदत्त पाण्डेय, , संजीत त्रिपाठी और ममता जी की टिप्पणियां मिलीं। आप सबका आभार ।
Thursday, December 27, 2007
डंडापरेड और दंडवत की महिमा ...
प्रस्तुतकर्ता अजित वडनेरकर पर 8:51 PM
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3 कमेंट्स:
अच्छा है - दण्डवत पर पोस्ट और पुलिस के दण्डप्रणाम का अन्दाज दिखाती फोटो!
अच्छा लगा पढ़कर ..सही है जब कोई पुराना शिष्य आकर दण्डवत प्रणाम करता है तो मन गदगद हो जाता है..
आप के आलेख के साथ के चित्रों का क्या कहना। नित्य आप की पोस्ट की प्रतीक्षा रहती है।
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